IIT Roorkee | आईआईटी रुड़की – सराहनीय; विकास को गति देने और ‘लोकल से ग्लोबल’ के उद्देश्य को साकार करने में कर रहा है मदद
राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस के अवसर पर आईआईटी रूड़की (IIT Roorkee) में आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि प्रतिभाग किया। इस अवसर पर राज्यपाल ने संस्थान द्वारा बधिर दिव्यांगों के लिए संचालित अनुश्रुति अकादमी का भ्रमण किया। उन्होंने बच्चों द्वारा बनायी गई पेंटिंग, हैण्डीक्राफ्ट आदि को भी देखा और उनकी सराहना की। इस दौरान राज्यपाल ने संस्थान की टिंकरिंग लैब, संस्थान के पुस्तकालय का भी भ्रमण किया और उन्होंने छात्रों द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान रूड़की (IIT Roorkee) का 175 वर्षों का देश की सेवा करने का गौरवशाली अतीत रहा है। संस्थान के कई एल्युमनी जो भारत और विदेशों में सफल तकनीकी और सामाजिक उद्यमों के संस्थापक हैं। ये सभी पूर्व छात्र आईआईटी रूड़की की उत्कृष्टता की विरासत बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे है।
उन्होंने राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस के अवसर पर कहा की प्रौद्योगिकी विकास के लिए योगदान देने वाले भारतीय वैज्ञानिकों और इंजीनियरों के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित करने का यह महान अवसर है। सचमुच में भारत को आधुनिक विज्ञान और प्रौद्योगिकी सम्पन्न बनाने में हमारे वैज्ञानिकों का बहुत बड़ा योगदान है।
राज्यपाल ने कहा कि वर्तमान समय में तकनीकी के बल पर हम आत्मनिर्भर भारत और विकसित भारत बन सकते हैं। तकनीकी के बल पर आने वाले 25 सालों के अमृतकाल में हम एक नई ऊचाईयों को अवश्य छूयेंगे। उन्होंने कहा कि आईआईटी रूड़की (IIT Roorkee) इस बात का उदाहरण है कि कैसे एक 175 साल पुराना संस्थान देश और दुनिया की आधुनिक समय की मांगों को पूरा करने के लिए खुद को ढ़ाल सकता है।
उन्होंने कहा कि हमें अपनी सभ्यता, संस्कृति व इतिहास को आधुनिक टेक्नोलॉजी के साथ जोड़ना होगा। आईआईटी रुड़की ने हमें अनेक बेहतरीन इंजीनियर और वैज्ञानिक दिए हैं, जिन्होंने देश के विकास और राष्ट्र के नव निर्माण में अत्यन्त महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
उन्होंने कहा कि आईआईटी रुड़की ने सतत विकास के लक्ष्यों के अनुरूप कई नई पहलें की हैं और ज्ञान आधार बनाने के लिए उत्तराखंड में स्थानीय संस्थानों को उनकी शैक्षणिक और अनुसंधान सुविधाओं को बढ़ाने के लिए शामिल किया है। संस्थान ने रुड़की और उसके आसपास की औद्योगिक इकाइयों को तकनीकी रूप से ठोस समाधान अपनाने, उनके विकास को गति देने और ‘लोकल से ग्लोबल’ के उद्देश्य को साकार करने में मदद कर रहा है जो सराहनीय है।
उन्होंने कहा कि आईआईटी रुड़की में बनाए गए कई सेंटर ऑफ एक्सीलेंस को देखकर भी मुझे बहुत खुशी हो रही है, पारस्परिक रूप से लाभकारी लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए प्रसिद्ध संस्थानों, विश्वविद्यालयों और उद्योगों के साथ सहयोग करना और संबंधों को बढ़ावा देना महत्वपूर्ण है।
इस अवसर पर आईआईटी के निदेशक प्रो. के.के पंत ने सभी अतिथियों का स्वागत किया और संस्थान की गतिविधियों की संक्षिप्त और उपलब्धियों की जानकारी प्रस्तुत की। इस दौरान आईआईटी में अनुसंधान व औद्योगिक परामर्श के डीन प्रो. अक्षय द्विवेदी, डीन शैक्षणिक मामले प्रो. अपूर्वा कुमार एवं डीन छात्र कल्याण प्रो. मुकेश कुमार बरूआ द्वारा प्रस्तुतीकरण दिए गए।
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इस अवसर पर ‘उत्तराखण्ड के भविष्य एवं विकास पर भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान रूड़की (IIT Roorkee) की भूमिका अवसर और संभावनाएं’ पर एक बैठक चर्चा हुई। इस चर्चा में हीरो मोटोकॉर्प के प्लांट हेड यशपाल सरदाना, ब्रिगेडियर कृष्णेंदु दास, निदेशक एनआईटी,यूके प्रो. ललित कुमार अवस्थी, निदेशक एम्स, ऋषिकेश प्रो. मीनू सिंह, उप निदेशक आईआईटी रूड़की प्रो. यूपी सिंह ने प्रतिभाग किया।